कांग्रेस ने जीता अंता विधानसभा उपचुनाव, चौथी बार विधायक बने प्रमोद जैन भाया
20 राउंड की लंबी गिनती के बाद भाया ने 15,594 वोटों की भारी बढ़त के साथ जीत दर्ज की।माहौल ऐसा रहा मानो अंता की जनता ने साफ तौर पर कहा हो कि वे भाया के काम पर भरोसा रखती है और बीजेपी की स्थानीय रणनीति उनसे जुड़ नहीं पाई।भाजपा उम्मीदवार मोरपाल सुमन दूसरे नंबर पर रहे, जबकि निर्दलीय नरेश मीणा बहुत मामूली अंतर से तीसरे नंबर पर पहुंचे।
इस सीट को मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा की सरकार के लिए पहली बड़ी परीक्षा माना जा रहा था।वसुंधरा राजे और खुद मुख्यमंत्री ने जमीन पर प्रचार किया था, लेकिन नतीजे उनकी उम्मीदों के उलट गए।
नतीजों के तय होने से पहले ही प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने फोन कर भाया को बधाई दे दी।भाया की पत्नी उर्मिला जैन ने कहा कि यह जीत उन कामों की है जो जनता ने खुद देखे और महसूस किए।
भाया की जीत का एक बड़ा कारण उनकी इस बार की रणनीति भी रही।पिछले चुनाव की कमियों से सीखकर उन्होंने पूरी मोहल्ला-दर-मोहल्ला मेहनत की, लगातार लोगों से मिलते रहे और पूरा चुनाव एक सूझ-बूझ वाली लड़ाई की तरह लड़ा। उनका बूथ-स्तर का माइक्रो मैनेजमेंट बीजेपी पर भारी पड़ा।
कांग्रेस ने भी इस उपचुनाव को प्रतिष्ठा का मुद्दा बनाकर अपनी पूरी टीम मैदान में उतारी।सचिन पायलट, अशोक गहलोत, डोटासरा, टीकाराम जूली, अशोक चांदना समेत बड़े नेता लगातार रोड शो और सभाओं में दिखे, जिससे माहौल बना और कार्यकर्ताओं में ऊर्जा आई।अंता की इस लड़ाई ने राजस्थान की राजनीति में एक नई हलचल जरूर पैदा कर दी है।
संवाददाता :- खुशी ढ़िमोले

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