छत्तीसगढ़ का ऐसा अनोखा घर, जो बनाता है बिजली और बचाता है पानी; ‘अक्षत ज्योति’ को मिल चुका है राष्ट्रीय सम्मान
सौरभ का घर ‘अक्षत ज्योति’ सिर्फ ईंट-पत्थरों का ढांचा नहीं, बल्कि एक जीवंत प्रयोगशाला है, जहां सूरज, हवा और बारिश ऊर्जा के साझीदार हैं, और इंसान बस उनका समझदार सहयोगी। दिल्ली में आयोजित 17वें गृह (जीआरआइएचए) सम्मेलन में इस घर को देश का सर्वोच्च सम्मान 5-स्टार स्वगृहा रेटिंग और ‘निष्क्रिय वास्तु-डिज़ाइन’ श्रेणी में उत्कृष्ट प्रदर्शन पुरस्कार प्राप्त हुआ। यह उपलब्धि ऐतिहासिक इसलिए भी है, क्योंकि छत्तीसगढ़ का यह पहला घर है, जिसे यह दोनों राष्ट्रीय सम्मान एक साथ मिले हैं।
सौरभ कहते हैं, हम दूसरों से टिकाऊ जीवनशैली की बात करने से पहले खुद अपने घर से शुरुआत करना चाहते थे। ‘अक्षत ज्योति’ उसी सोच का परिणाम है, कम ऊर्जा, कम खर्च और अधिक आराम वाला घर। यह सम्मान मेरे घर का नहीं, बस्तर की उस मिट्टी का है, जिसने सिखाया कि प्रकृति से तालमेल ही असली विकास है।
बस्तर की मिट्टी से निकला यह विचार आज पूरे भारत के लिए एक संदेश है कि आधुनिकता और प्रकृति का संगम संभव है, बस दिशा सही होनी चाहिए। ‘अक्षत ज्योति’ सिर्फ एक घर नहीं, आने वाले कल का रास्ता है।
संवाददाता :- खुशी ढ़िमोले

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