फांसी बड़ में चरवाहे को मिला शिवलिंग: डेढ़ फीट गहरा गड्ढे में दिखा शिवलिंग नुमा पत्थर, लगी भीड़।
बैतूल से करिब 24 किलोमीटर दूर फांसी बड़ में गांव का चरवाहा मिश्री यादव भैंस चराने के दौरान एक खेत में शिवलिंग कि आकृति वाला पत्थर मिला है। इसे प्राचीन बताया जा रहा है। शिवलिंग निकलने की खबर फैलते ही रहवासियों का ताता लग गया। जिसके बाद यहां श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ पड़ी है। और शिवलिंग का पूजन अभिषेक करने लगे।
चरवाहे का कहना
भैंस चराने के दौरान एक स्थान पर बैठा था इस दौरान वह अपनी लाठी से सूखी जमीन को खुरच रहा था। उसी समय उसे जमीन में शिवलिंग होने का अहसास हुआ। पत्थर को और खुरचने पर वह गोल होता गया। इस पर वह चरवाहे ने गैती फावड़े लाकर मौके पर खुदाई शुरू कर दी। जमीन को एक से डेढ़ फीट खोदने पर जमीन से करीब दो फीट व्यास और एक फीट ऊंचाई का शिवलिंग निकला।
शिव मंदिर का होंगा निर्माण
ग्रामीणों का कहना है कि जिस जगह से यह प्रतिमा खुदाई के दौरान निकली है। उस जगह या आसपास कोई मंदिर व किसी तरह का कोई भी पुरातात्विक इतिहास नहीं है। जिसके चलते ग्रामीण इसे किसी चमत्कार से कम भी नहीं मान रहे हैं। बताया जा रहा है कि इस प्रतिमा को जिस जगह पर स्थापित किया गया है। आने वाले दिनों में उस स्थान पर एक मंदिर का निर्माण किया जाएगा।
जिस जगह यह शिवलिंग निकला है। वह खेत मीरा बाई राठौर का है। जो कि भोपाल नागपूर मार्ग हाइवे से लगा हुआ है। इसे खेत पर शिवलिंग वाले स्थान पर कुछ दिनों से नाग नागिन का जोड़ा देखा जा रहा था।
जिसके कारण चरवाहे उस तरफ नहीं जा रहें थे। बता दें जिस फांसी बड़ नामक स्थान के पास यह शिवलिंग मिला है। वह निमपानी गांव के करीब है। पुराने लोगों का कहना है कि इसी फांसी बड़ में अंग्रेज लोगों को फांसी दिया करते थे।
संवाददाता : विशाल कुमार धुर्वे
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