महिलाओं के अधिकार, कार्यस्थल पर यौन उत्पीड़न POSH अधिनियम से सुरक्षा का अधिकार
क्या आप जानती हैं कि भारत में POSH अधिनियम 2013 के तहत हर महिला को एक सुरक्षित और सम्मानजनक कार्यस्थल का अधिकार मिला हुआ है? POSH, यानी Prevention of Sexual Harassment एक्ट, का मकसद हर महिला को यौन उत्पीड़न से बचाना और न्याय दिलाना है।
लेकिन सवाल उठता है:
क्या हर महिला को अपने इस अधिकार की जानकारी है?
क्या आपके कार्यस्थल पर आंतरिक शिकायत समिति यानी Internal Complaints Committee बनी है?
अगर नहीं, तो आपकी सुरक्षा की गारंटी कौन देगा?
POSH अधिनियम के तहत हर महिला को अधिकार है कि वह:
1. किसी भी प्रकार के यौन उत्पीड़न की शिकायत दर्ज करा सके।
2. निष्पक्ष जांच की मांग कर सके।
3. एक गरिमामय और सुरक्षित कार्यस्थल पर काम कर सके।
यह अधिनियम केवल कागजों तक सीमित नहीं है। यह हर महिला के आत्मसम्मान की रक्षा का वादा है। पर क्या यह वादा पूरा हो रहा है? क्या हमारे संस्थान और कंपनियां इसे गंभीरता से ले रही हैं?
हमारे समाज में यह बदलाव तभी आएगा, जब महिलाएं अपने अधिकारों के प्रति जागरूक होंगी। अपनी आवाज उठाएंगी। और जब हर महिला का सहकर्मी, उसका संस्थान और उसका समाज उसे सपोर्ट करेगा।
हमारी अपील है—POSH अधिनियम के तहत अपने अधिकारों को समझें, उनका उपयोग करें और अपने कार्यस्थल को एक बेहतर स्थान बनाएं।
वीडियो लिंक : https://www.youtube.com/watch?v=95Mk5tdOgU8
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